
Table of Contents
Overview
अस्सलामु अलैकुम रीडर! हर शख्स अपनी ज़िंदगी में कभी न कभी Sar Dard का शिकार होता है। यह एक आम मसला है जो हमारी रोज़ मर्रा की ज़िंदगी को मुश्किल बना देता है।
लेकिन इस्लाम हमें हर मुश्किल का हल देता है और सर दर्द का हल (Sar Dard Ki Dua) भी कुरान और सुन्नत में मौजूद है। इस आर्टिकल में हम आपको सर दर्द के लिए एक खास दुआ और इसके फज़ाइल के बारे में बताएंगे।
Sar Dard Ki Dua In English
Jab aap sar dard mehsoos karein to Allah ki taraf rujoo karte hue yeh dua parhein: “A’oozu billaahi wa qudratihi min sharri maa ajidu wa uhaaziru.”
Iska tarjuma hai: “Main Allah aur uski qudrat ke saath us cheez ke shar se panaah maangta hoon jo mujhe mehsoos ho rahi hai aur jis se mujhe dar hai.”
Yeh dua aapke dard ko kam karne aur shifa hasil karne ke liye madadgar hogi, inshaAllah.

Sar Dard Ki Dua In Hindi
“अऊज़ु बिल्लाही व क़ुदरतिही मिन शर्री मा अजिदु व उहाज़िरु।”
इसका तर्जुमा है: “मैं अल्लाह और उसकी कुदरत के साथ उस चीज़ के शर से पनाह मांगता हूं जो मुझे महसूस हो रही है और जिससे मुझे डर है।”

Read Also:- Ghar Me Dakhil Hone Ki Dua
Sar Dard Ki Dua In Arabic/Urdu
“أَعُوْذُ بِاللّٰهِ وَقُدْرَتِهِ مِنْ شَرِّ مَا أَجِدُ وَأُحَاذِرُ”
اس کا ترجمہ
“میں اللہ اور اس کی قدرت کے ساتھ اس چیز کے شر سے پناہ مانگتا ہوں جو مجھے محسوس ہو رہی ہے اور جس سے مجھے ڈر ہے۔”

Sar Dard Se Nijat Ke Tarike
दुआ के साथ कुछ ऐसे असबाब और अमल हैं जो सिरदर्द से निजात में मददगार हो सकते हैं:
- पानी का इस्तेमाल: पानी ज़्यादा पिएं, क्योंकि डिहाइड्रेशन भी सिरदर्द का कारण हो सकता है।
- तसबिह और ज़िक्र: अल्लाह का ज़िक्र दिल और ज़ेहन को सुकून देता है, जो सिरदर्द को कम कर सकता है।
- सजदा करें: सजदा करना ज़ेहन और जिस्म को आराम देता है, इससे भी सिरदर्द में फर्क महसूस होगा।
- आराम करें: मानसिक और शारीरिक आराम लेना भी ज़रूरी है। कई बार तनाव और थकान की वजह से दर्द होता है।
Surah Al-Fatiha
सूरह अल-फातिहा: इस सूरह को कई बार पढ़ने से सिरदर्द में राहत मिल सकती है। इसे पढ़ते समय शिफा की नीयत पर ध्यान करें।
بِسْمِ اللَّهِ الرَّحْمَٰنِ الرَّحِيمِ
1. ٱلْحَمْدُ لِلَّهِ رَبِّ ٱلْعَـٰلَمِينَ
2. ٱلرَّحْمَـٰنِ ٱلرَّحِيمِ
3. مَـٰلِكِ يَوْمِ ٱلدِّينِ
4. إِيَّاكَ نَعْبُدُ وَإِيَّاكَ نَسْتَعِينُ
5. ٱهْدِنَا ٱلصِّرَٰطَ ٱلْمُسْتَقِيمَ
6. صِرَٰطَ ٱلَّذِينَ أَنْعَمْتَ عَلَيْهِمْ غَيْرِ ٱلْمَغْضُوبِ عَلَيْهِمْ وَلَا ٱلضَّآلِّينَ
Transliteration:
Bismillahir Rahmanir Raheem
- Alhamdu lillahi Rabbil ‘aalameen
- Ar-Rahmanir-Raheem
- Maaliki Yawmid-Deen
- Iyyaka na’budu wa iyyaka nasta’een
- Ihdinas-Siraatal-Mustaqeem
- Siraatal-lazeena an’amta ‘alayhim ghayril-maghdoobi ‘alayhim wa lad-daaalleen
Translation:
In the name of Allah, the Most Gracious, the Most Merciful.
- All praise is for Allah, Lord of all the worlds,
- The Most Gracious, the Most Merciful,
- Master of the Day of Judgment.
- You alone we worship, and You alone we ask for help.
- Guide us on the Straight Path,
- The path of those who have received Your grace; not the path of those who have brought down wrath upon themselves, nor of those who have gone astray.
Source:- Surah Fatiha
Ayat Al-Kursi
आयत अल-कुर्सी: इसके हिफ़ाज़ती ख़सूसियात के लिए मशहूर, इस आयत को सर दर्द से निजात के लिए पढ़ा जा सकता है।
اللَّهُ لَا إِلَٰهَ إِلَّا هُوَ الْحَيُّ الْقَيُّومُ ۚ لَا تَأْخُذُهُ سِنَةٌ وَلَا نَوْمٌ ۚ لَهُ مَا فِي السَّمَاوَاتِ وَمَا فِي الْأَرْضِ ۗ مَنْ ذَا الَّذِي يَشْفَعُ عِنْدَهُ إِلَّا بِإِذْنِهِ ۚ يَعْلَمُ مَا بَيْنَ أَيْدِيهِمْ وَمَا خَلْفَهُمْ ۖ وَلَا يُحِيطُونَ بِشَيْءٍ مِنْ عِلْمِهِ إِلَّا بِمَا شَاءَ ۚ وَسِعَ كُرْسِيُّهُ السَّمَاوَاتِ وَالْأَرْضَ ۖ وَلَا يَئُودُهُ حِفْظُهُمَا ۚ وَهُوَ الْعَلِيُّ الْعَظِيمُ
Ayat Al Kursi
Transliteration:
अल्लाहु ला इलाहा इल्ला हुवाल हय्युल क़य्यूम
ला तख़ुज़ुहू सीनतुन वला नौमुन
लहू मा फि स्समावाति वमा फि अल-अर्ज
मन ज़ाल्लज़ी यश्फ़उ इंडहु इल्ला बी इज़्निही
यालमू मा बैन आयदीहिम वमा खल्फ़हुम
वला युहीतूनो बिशैयमिन इल्मिही इल्ला बीमा शा
वसीआ क़ुर्सीयूहुस्समावाति वलअर्ज
वला यआऊदूहू हिफ़्ज़ूहमा
वहु अलअलीयुल अज़ीम
Translation in Hindi
अल्लाह – उस के सिवा कोई इल्लाह नहीं, वही हमेशा जिन्दा रहने वाला और हर चीज़ का पालन करने वाला है।
उसको ना तो ऊंघ आती है और ना नींद।
उसकी मलकियत में जो कुछ भी आसमानों में है और जो कुछ भी ज़मीन में है।
कौन है जो उसकी इजाज़त के बिना उसके पास सिफ़ारिश कर सके।
वह जानता है जो उनके सामने है और जो उनके पीछे है।
और वो उसकी इल्म (ज्ञान) में से किसी भी चीज़ को घेर नहीं सकते, सिवा इसके जो वह चाहें।
उसका क़ुर्सी आसमानों और ज़मीन पर फैला हुआ है।
और उन दोनों की हिफ़ाज़त उसे थकाती नहीं है।
और वह है अत्यंत ऊँचा, अत्यंत महान।
Dua Ki Fazail Aur Ahmiyat
अल्लाह की ओर रुख करना हमेशा सबसे अच्छा उपाय होता है। जब हम अल्लाह से सहायता की दरख्वास्त करते हैं, तो न केवल हमारा दर्द हल्का होता है, बल्कि हमारी आत्मिक स्थिति भी सुधरती है। सिर दर्द के दौरान यह दुआ पढ़ने से हमें न केवल शिफा मिलती है, बल्कि अल्लाह की रहमत का भी एहसास होता है।
Conclusion
सर दर्द को ठीक करने के लिए एक मुकम्मल अप्रोच जरूरी है। फितरी इलाज, Sar Dard Ki Dua, और जिंदगी के तौर-तरीके में तबदीली से दर्द में राहत और इससे बचाव मिल सकता है।
इन तरीकों को आजमाएं और देखें के आपके लिए कौन सा तरीका बेहतर है। अगर सर दर्द बरकरार रहे, तो किसी डॉक्टर या हेल्थ प्रोफेशनल से मशवरा लें।
अगर आपको सिर दर्द का सामना हो, तो इस दुआ का जरूर इस्तेमाल करें और अपने दोस्तों और घर वालों के साथ भी शेयर करें। अल्लाह हर बीमारी का शाफ़ी है और दुआ एक अज़ीम असर रखती है।
अल्लाह हम सब को सेहत और आफियत अता करे। आमीन!